25 हजार का इनामी शराब माफिया आबकारी इंस्पेक्टर गिरफ्तार:सहारनपुर की शराब फैक्ट्री को लगाया था करोड़ों का चूना

लखनऊ STF ने कार्रवाई करते हुए मनोज गैंग के सदस्य आबकारी इंस्पेक्टर अरविंद वर्मा को हरदोई से गिरफ्तार किया है। फरार आबकारी निरीक्षक पर अधिकारियों ने 25 हजार का इनाम रखा था। फिलहाल STF अब शराब माफिया के इस गैंग से जुड़े अन्य लोगों की तलाश में जुटी है।

25 हजार का इनामी शराब माफिया आबकारी इंस्पेक्टर गिरफ्तार:सहारनपुर की शराब फैक्ट्री को लगाया था करोड़ों का चूना
25 हजार के इनामी शराब माफिया आबकारी निरीक्षक गिरफ्तार

यूपी सरकार को करोड़ों रुपये राजस्व को चूना लगाने वाले बरेली के शराब माफिया और डाउन-टाउन 25 बार के मालिक मनोज जायसवाल को पुलिस ने जेल भेजने के बाद अब उसके गैंग से जुड़े अन्य शराब माफियाओं पर कार्रवाई शुरू कर दी है।

इसी कड़ी में लखनऊ STF ने कार्रवाई करते हुए मनोज गैंग के सदस्य आबकारी इंस्पेक्टर अरविंद वर्मा को हरदोई से गिरफ्तार किया है। फरार आबकारी निरीक्षक पर अधिकारियों ने 25 हजार का इनाम रखा था। फिलहाल STF अब शराब माफिया के इस गैंग से जुड़े अन्य लोगों की तलाश में जुटी है।

1 साल पहले शराब तस्करी की खुली थी पोल : सहारनपुर स्थित कोआपरेटिव कंपनी लिमिटेड शराब फैक्ट्री टपरी से करोड़ों रुपये की शराब निकालकर सरकार को करोड़ों रुपये राजस्व का चूना लगाया था। इस बाद का खुलासा तब हुआ जब क्राइम ब्रांच ने देशी शराब से लदे 2 ट्रक बरेली से बरामद किए। पड़ताल के दौरान पता चाला कि शराब कारोबारी डाउन-टाउन 25 बार का मालिक मनोज जायसवाल ही शराब माफिया है। वह चोरी छिपे शराब की सप्लाई कर रहा था।

6 महीने से आबकारी इंस्पेक्टर दे रहा था चकमा, 25 हजार के ईनामी को STF ने दबोचा

इस दौरान उसके गैंग के दर्जनों लोगों के नाम सामने आए। पुलिस ने उस दौरान गिरफ्तार तो ट्रक चालकों को जेल भेजने के साथ ही मनोज जायसवाल समेत कई अज्ञात के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया। जांच के दौरान पुलिस ने पहले 8 अन्य के नाम खोले। पुलिस ने शराब माफिया को मनोज जायसवाल समेत 8 आरोपितों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया।

आबकारी इंस्पेक्टर की थी मिली भगत : 100 करोड़ से अधिक राजस्व चोरी और कई हाई प्रोफाइल लोगों के नाम जांच में आने के बाद इस पूरे प्रकरण स की जांच के लिए ICT गठित कर दी गई। ICT ने जांच की तो टपरी शराब फैक्ट्री के तत्कालीन इंस्पेक्टर अरविंद्र वर्मा समेत 15 अन्य लोगों के नाम सामने आए।

जिसके बाद उनका नाम भी मुकदमे में शामिल किया गया तो भनक लगते ही इंस्पेक्टर अरविंद्र फरार हो गए। करीब 6 महीने से वह पुलिस को चकमा देकर फरार चल रहे थे। जिसके अधिकारियों ने आबकारी इंस्पेक्टर पर समेत सभी 15 आरोपितों पर 25-25 हजार का इनाम घोषित कर दिया।

इसी दौरान लखनऊ STF को आबकारी इंस्पेक्टर के हरदोई आने की सूचना मिली तो उन्होंने अपना जाल बिछाया और आबकारी इंस्पेक्टर अरविंद कुमार निवासी सावित्री सदन एस्सार पेट्रोल पंप के सामने पिहानी चुंकी कोर्रिया थाना कोतवाली देहात हरदोई को हरदोई पहुंचते ही गिरफ्तार कर लिया।

दस्तावेजों में हेराफेरी कर चोरी करते थे शराब : पूछताछ में आबकारी इंस्पेक्टर अरविंंद कुमार ने बताया कि वह कोऑपरेटिव कम्पनी टपरी सहारनपुर में तत्कालीन आबकारी निरीक्षक का कार्य देख रहा था । उससे पूर्व फैक्ट्री का कार्य सहायक आबकारी आयुक्त जगराम पाल द्वारा विगत करीब 2 वर्षों से किया जा रहा था।

टपरी फैक्ट्री से एक ही बिल्टी पर दो बार शराब निकालने का कार्य होता था । फैक्ट्री में नियुक्त अधिकारियों व कर्मचारियों की मिलीभगत से एक्साइज टैक्स की बड़ी चोरी की घटना अंजाम दिया जाता था।

फैक्ट्री से गाड़ी की निकासी के दौरान फैक्ट्री के अधिकारियों द्वारा फैक्ट्री के सीसीटीवी कैमरे को बंद करा दिए जाते थे। इस दौरान ट्रांसपोर्ट कम्पनी के ट्रक ड्राईवरों द्वारा ट्रक में लगे GPS को भी ऑफ कर दिया जाता था। जिसके कारण गाड़ियों के फेरों की GPS लोकेशन लॉग नहीं होती थी । इस समस्त कार्य में कोऑपरेटिव कम्पनी टपरी सहारनपुर के मालिक और अधिकारियों की पूरी मिलीभगत होती थी ।

प्रणय अनेजा ( फैक्ट्री मालिक ) के निर्देशन में एक ही बिल्टी पर 2 बार शराब लदी गाड़ी ( एक बार वैध एवं एक बार अवैध रूप से ) निकालने का काम प्रारम्भ किया गया। जिसमें एक्साइज विभाग के अधिकारियों की संलिप्तता भी रहती थी।